कलेक्ट्रेट सभागार में आयोजित हुई आगामी विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान की पहली अंतर्विभागीय समन्वय बैठक
एक अक्टूबर से पूरे माह चलेगा विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान
वाराणसी। जनपद में एक अक्टूबर से पूरे माह विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान चलेगा। अभियान के सफल संचालन की तैयारियों को लेकर मंगलवार को कलेक्ट्रेट सभागार में जिलाधिकारी एस राजलिंगम की अध्यक्षता और मुख्य विकास अधिकारी हिमांशु नागपाल की उपस्थिती में प्रथम अंतर्विभागीय समन्वय समिति की बैठक आयोजित हुई। बैठक में जिलाधिकारी ने पिछले अभियान शिथिलता व लापरवाही बरतने पर कई विभागों के अधिकारियों का वेतन रोकने का निर्देश दिया।
जिलाधिकारी ने पंचायती राज विभाग के चिरईगांव एवं अराजीलाइन के एडीओ और बीडीओ तथा पिंडरा के एडीओ को सड़क किनारे झाड़ियों की कटाई न होने, नालियों की सफाई न होने एवं फोगिंग न होने पर कड़ी नाराजगी व्यक्त की और एक दिन का वेतन रोकने का निर्देश भी दिया। सेवापुरी एडीओ पंचायत का भी एक दिन का वेतन रोकने का निर्देश दिया गया। कृषि विभाग के सेवापुरी के एडीओ को मूषक रोकथाम में लापरवाही बरतने पर एक दिन का वेतन रोकने का निर्देश दिया। नगर विकास विभाग के पशुपालन अधिकारी को आवारा पशुओं के शहर में लगातार घूमने और कार्यवाही न करने पर नाराजगी व्यक्त की। इसे जल्द से जल्द पूरा करने निर्देश दिया। आईसीडीएस विभाग के सेवापुरी के सीडीपीओ को आंगनबाड़ी कार्यकर्ता के द्वारा किए जाने वाले गृह भ्रमण में लापरवाही करने पर सीडीपीओ का एक दिन का वेतन रोकने का निर्देश दिया गया। आशा कार्यकर्ताओं द्वारा गृह भ्रमण में लापरवाही बरतने पर सेवापुरी और पिंडरा के प्रभारी चिकित्साधिकारी के प्रति नाराजगी व्यक्त करते हुए एक दिन का वेतन रोकने का निर्देश दिया। नगर स्वास्थ्य अधिकारी को निर्देशित किया कि नगर में चिन्हित समस्त हॉट स्पॉट क्षेत्रों के खाली प्लाटों में जल भराव की स्थिति का सर्वेक्षण कराया जाए और जल भराव की स्थिति का सौ फीसदी निराकरण किया जाए। लापरवाही बरतने पर सख्त कार्यवाही की जाएगी। नगर में सुअर बाड़ों के प्रति कार्यवाही न करने पर बेहद नाराजगी व्यक्त की। स्वास्थ्य विभाग को निर्देशित किया कि जहां भी जल भराव व जमाव की स्थिति है, उनकी सूची जल कल विभाग को सूचित किया जाए, जिससे जल जमाव का निराकरण किया जा सके। साथ ही मुख्य चिकित्सा अधिकारी को निर्देशित किया कि एक टास्क फोर्स गठित की जाए, जिसमें नोडल अधिकारी नियमित रूप से जल भराव की स्थिति का सर्वेक्षण करें और इसकी सूचना विभाग को दें। जिलाधिकारी ने कहा कि जिन विभागों को जिम्मेदारियां दी गई हैं, उसका अनुपालन सौ फीसदी पूरा होना चाहिए। इसमें किसी भी शिथिलता और लापरवाही पर न की जाए। पूर्व से चिन्हित हॉट स्पॉट क्षेत्रों में सघन अभियान चलाते हुए फोगिंग, छिड़काव, स्क्रीनिंग कैंप आदि समेत जागरूकता गतिविधियां संचालित की जाएं। प्रत्येक गांव और वार्ड में नियमित फोगिंग की जाए। कहीं भी जल भराव की स्थिति पैदा न होने पाए। अभियान की शत प्रतिशत मॉनिटरिंग और समय से रिपोर्टिंग की जाए।
मुख्य विकास अधिकारी हिमांशु नागपाल ने समस्त विभागों को निर्देशित किया कि अभियान के सफल संचालन के लिए आपसी समन्वय स्थापित किया जाना बेहद जरूरी है। स्वास्थ्य विभाग को अभियान का नोडल विभाग बनाया गया है।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ संदीप चौधरी ने बताया कि एक अक्टूबर से पूरे माह विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान चलाया जाएगा। इसी बीच दस्तक अभियान भी चलेगा, जिसमें स्वास्थ्यकर्मी घर घर जाकर बुखार, आई०एल०आई० (इन्फ्लुएंजा लाइक इलनेस), टीबी, कुष्ठ रोग, फाइलेरिया, कालाजार, कुपोषित बच्चों समेत डायबिटीज, हाइपरटेंशन, कैंसर जैसी अन्य गैर संचारी रोगों से ग्रसित रोगियों की सूची तैयार करेंगे। रोगियों के उपचार, प्रबंधन और परामर्श भी जोर दिया जाएगा। उन्होंने बताया कि समस्त ब्लाकों में टास्क फोर्स बैठक हो चुकी हैं। स्वास्थ्यकर्मियों को प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इन समस्त कार्यों हेतु क्षेत्र की आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, आशाओं को पूर्ण सहयोग प्रदान करेंगी।
बैठक में अभियान के नोडल अधिकारी डॉ एसएस कनौजिया, एसीएमओ, डिप्टी सीएमओ, जिला पंचायती राज अधिकारी, बेसिक शिक्षा अधिकारी, नगर स्वास्थ्य अधिकारी, जिला मलेरिया अधिकारी, जिला कार्यक्रम अधिकारी, जिला सूचना अधिकारी, अधीक्षक, प्रभारी चिकित्साधिकारी, यूनीसेफ के डीएमसी समेत कृषि, जल कल, नगर विकास, पंचायती राज व अन्य विभागों के अधिकारी उपस्थित रहे।