पूर्वांचल के अग्रणी पॉपुलर हॉस्पिटल वाराणसी के निदेशक एवं प्रसिद्ध लेजर व लैप्रोस्कोपिक सर्जन डॉ. ए.के. कौशिक की अध्यक्षता में एनोरेक्टल डिस्आर्डर/प्रोक्टोलॉजी/गुदा रोग से संबंधित बीमारियों जैसे पाइल्स, फिस्टुला, फिशर, पाइलोनाइडल साइनस पर एक संगोष्ठी व कार्यशाला का आयोजन किया गया। संगोष्ठी में भारत के प्रसिद्ध लेजर व लैप्रोस्कोपिक सर्जन डॉ. कल्याण कर द्वारा सर्जरी की गई।
आधुनिक लेजर तकनीकी के बारे में बताते हुए डॉ. कौशिक ने कहा कि लेजर एक आधुनिकतम तकनीक है। यह तकनीक उन मरीजों के लिए विशेष फायदेमंद है जिनका पहले कई बार ऑपरेशन हो चुका है और सफल नहीं हो पाया उन मरीजों के लिए यह तकनीकी वरदान साबित हुई है। लेजर तकनीकी की प्रमुख विशेषता यह है कि इससे ऑपरेशन में छोटा चीरा, दर्द रहित, बिना रक्तस्राव एवं ऑपरेशन के 1 से 2 दिन के बाद काम पर लौट जाते हैं। उन्होंने बताया कि हमारा लक्ष्य एक उच्च-स्तरीय चिकित्सा प्रदान करना एवं मरीजों को स्वस्थ जीवनशैली की ओर मार्गदर्शित करना है। हम गर्व से कह सकते हैं कि हमारा यह संगोष्ठी और कार्यशाला इस लक्ष्य की प्राप्ति में एक महत्वपूर्ण कदम रहे हैं।
डॉ. कल्याण कर ने बताया कि परंपरागत विधि की अपेक्षा लेजर तकनीकी ज्यादा व्यापक सर्वमान्य व सफल है। एनोरेक्टल सर्जरी के आधुनिक तरीकों से किये जाने के परिणामस्वरूप मरीजों को ऑपरेशन के पश्चात् दर्द का अनुभव नहीं होता है, इस बात को अधिक से अधिक लोगों तक पहुंचाने की जरूरत है।
कार्यशाला में 4 कॉम्प्लेक्स फिस्टुला, 3 पाइल्स, 3 फिशर एवं 2 पाइलोनाइडल साइनस के कुल 12 मरीजों की सर्जरी की गई।
संगोष्ठी में वाराणसी सर्जिकल सोसायटी के डॉक्टर्स एवं शहर के प्रैक्टिशनर के अलावा बीएचयू के प्रसिद्ध सर्जन प्रो. डॉ. अजय खन्ना, डॉ. मुमताज एवं बीएलडब्ल्यू से डॉ. सुनील भी कार्यशाला में उपस्थित थे।
कार्यशाला के समापन पर पॉपुलर हॉस्पिटल के सीईओ डॉ. एम.के. कुलश्रेष्ठ ने संगोष्ठी में आये सभी चिकित्सकों का आभार व्यक्त किया एवं कहा कि पॉपुलर हॉस्पिटल आगे भी इस तरह की कार्यशालाओं का आयोजन करता रहेगा।