बनारस घराने के प्रख्यात तबला वादक पं. पुण्डलिक कृष्ण भागवतपं. पुण्डलिक कृष्ण भागवत का हुआ 11/12 अगस्त को भोर में निधन हो गया।
खबर है कि 61 वर्ष की उम्र में प्रख्यात तबला वादक का निधन हृदय गति रुक जाने के कारण हुआ है। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार शुक्रवार 11 अगस्त को पंडित जी काशी हिंदू विश्वविद्यालय में में पंडित रामाश्रय झा स्मृति संगीत समारोह में शामिल हुए और कार्यक्रम का आनंद उठाया। तत्पश्चात वे अपने गायघाट स्थित आवास पर आए और उसके पश्चात भोजन किया और तबले का रियाज किया, इसके पश्चात अचानक उनकी तबीयत बिगड़ गई। अचानक तबियत बिगड़ने के दौरान उल्टी होने पर उन्हें दवा दी गई और भी आराम करने लगे, इसके पश्चात हुए उठे नहीं। परिजनों को भोर में पता चला के पंडित जी नहीं रहे।
पंडित जी अपने पीछे पत्नी और बेटों से भारत पूरा परिवार छोड़ कर गए। पंडित जी तबले के आलावा गायन, वेद शास्त्र के प्रख्यात कर्मकांडी रहे हैं। उन्होंने अपने जीवन काल में तबले की शिक्षा के साथ ही, संस्कृत की भी शिक्षा नि:शुल्क लेते रहे।
उनके आकस्मिक निधन से काशी का संगीत समाज स्तब्ध रह गया है। पंडित जी ने देश के सभी बड़े कलाकारों के साथ संगत करके अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन कर चुके है।
विश्व विख्यात संकट मोचन संकट मोचन संगीत समारोह में भी पं. पुण्डलिक कृष्ण भागवत को प्रभु हनुमान जी के चरणों में अपनी हाजिरी लगाने का अवसर प्राप्त किया है।
स्मृति शेष पं. पुण्डलिक कृष्ण भागवत जी को शत शत नमन!